उत्तराखण्ड
17 जुलाई 2020
राशन विक्रेताओं ने निःशुल्क खाद्यान्न वितरण करने से हाथ खड़े़े किये
लक्सर। लक्सर में राशन विक्रेताओं ने निश्शुल्क खाद्यान्न वितरण करने से हाथ खड़े कर दिए हैं। हर माह दस से पंद्रह हजार रुपये का नुकसान की बात कहते हुए विक्रेताओं ने मुख्यमंत्री को पत्र भेजकर निश्शुल्क राशन वितरण पर कमीशन देने की मांग की है। लॉकडाउन के दौरान प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना के तहत कार्डधारकों को तीन माह तक हर माह प्रति यूनिट पांच किलो गेहूं या चावल उपलब्ध कराया गया था। केंद्र सरकार ने अब यह योजना नवंबर तक बढ़ा दी है। शुरू से ही राशन विक्रेता योजना के तहत राशन वितरण पर कमीशन नहीं मिलने पर एतराज जताते आ रहे हैं। अब नवंबर तक योजना जारी रहने पर राशन विक्रेताओं ने हाथ खड़े कर दिए हैं। लक्सर क्षेत्र के राशन विक्रेताओं ने मुख्यमंत्री को पत्र भेजकर बताया कि योजना के तहत गेहूं, चावल आदि का निश्शुल्क वितरण किया जा रहा है। लेकिन, इसके लिए सरकार की ओर से उन्हें कोई कमीशन नहीं दिया जा रहा है। इससे गोदाम से दुकान तक खाद्यान्न की ढुलाई, मजदूरी आदि के अलावा बोरे के वजन के नुकसान की भरपाई भी नहीं होने से राशन विक्रेताओं को हर महीने दस से पंद्रह हजार तक का नुकसान उठाना पड़ रहा है। विक्रेताओं ने मुख्यमंत्री से निश्शुल्क राशन वितरण पर निर्धारित कमीशन दिलाने और बोरे के वजन की भरपाई की मांग करते हुए ऐसा नहीं होने पर राशन वितरण में असमर्थता जताई है। पत्र भेजने वालों में विनोद कुमार, रियाजुल, तेजपाल, राकेश, मैनपाल, वेदपाल, आदि विक्रेता शामिल रहे।
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