नर्सिंग होम में लगी आग मची अफरातफरी

नर्सिंग होम में लगी आग मची अफरातफरी

Spread the love

उत्तर प्रदेश
8 दिसम्बर 2021
नर्सिंग होम में लगी आग मची अफरातफरी
मुरादाबाद । नगर में स्थित जिज्ञासा नर्सिंग होम में सोमवार की देर रात निकली छोटी सी चिंगारी ने बड़े हादसे की पटकथा लिख डाली। हालात ये थे कि बिजली मीटर में शॉर्ट सर्किट से निकली चिंगारी ने देखते ही देखते अस्पताल का एक हिस्सा पूरी तरह जलकर खाक कर दिया। आग की लपटों में घिरी अस्पताल के बाहर खड़ी स्कूटी की टंकी में धमाका होते ही आग ने विकराल रूप धारण कर लिया। सूचना मिलते ही मरीजों से भरे नर्सिंग होम में अफरा-तफरी मच गई। गनीमत यह कि रही समय रहते हालात पर काबू पा लिया गया, नहीं हो जानमाल का बड़ा नुकसान हो जाता।

गलशहीद थाना क्षेत्र के गांधी नगर इलाके में सोमवार देर रात सवा दो बजे तक सब कुछ सामान्य था। सड़कों पर सन्नाटा पसरा था। गांधी नगर इलाके के निजी अस्पतालों में मरीज और तीमारदार भी अपने बिस्तरों पर थे, लेकिन 15 मिनट बाद ही वहां का पूरा नजारा ही बदल गया। रात करीब ढाई बजे जिज्ञाना नर्सिंग होम के बाहर लगे बिजली मीटर में अचानक शार्ट सर्किट हुआ और चिंगारियां निकलनी शुरू हो गई।

एक कार सवार उस समय अस्पताल के बाहर खड़ा था, शायद उसने मीटर की आग को गंभीरता से नहीं लिया। इससे पहले की लोग कुछ समझ पाते मीटर से निकली चिंगारी ने विकराल रूप ले लिया। नसिंग होम की होर्डिंग के बाद ग्लो साइन बोड आदि आग की लपटों की चपेट में आ गए और पिघल कर नीचे गिरने लगे। बाहर खड़ी एक स्कूटी पर भी प्लाटिक जलकर गिरा, जिससे उसमें भी आग लग गई।

आग की लपटें उठने के चंद सेकेंट बाद ही स्कूटी की टंकी भी फट गई और आग की लपटें और विकराल हो गईं। देखते-देखते पूरा नर्सिंग होम आग का गोला बन गया। नर्सिंग होम में भर्ती मरीजों, तीमारदारों और स्टाफ में अफरा-तफरी मच गई। अस्पताल में भर्ती मरीजों और तीमारदारों की चीख-पुकार सुनकर चंद मिनट में ही वहां भारी भीड़ एकत्रित हो गई।

अस्पताल के डायरेक्टर डॉ. सीपी सिंह ने पुलिस और दमकल विभाग के कर्मचारियों की मदद से किसी तरह मरीजों और तीमारदारों को बाहर निकलवाया। अस्पताल में करीब तीन दर्जन लोग थे। करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार यदि समय रहते मीटर की आग पर काबू पाया गया होता तो शायद इतना बड़ा हादसा न होता।

लाखों के नुकसान पर भारी मरीजों की जान बचने का सुकून
जिज्ञासा नर्सिंग के संचालक डॉ. सीपी सिंह ने बताया कि आग लगने की वजह से नर्सिंग होम में काफी नुकसान हुआ। बिल्डिंग में उनके आवास के काफी हिस्से को क्षति पहुंची। बिल्डिंग में लगे 12 एसी आग में जलकर राख हो गए। पॉवर के जो मीटर लगे थे उनका कोई अवशेष भी नहीं बचा।

डॉक्टर ने बताया कि आर्थिक तौर पर काफी नुकसान के बावजूद उन्हें इस बात का सबसे बड़ा सुकून है कि किसी भी मरीज, तीमारदार, स्टाफ और परिवार के सदस्य सुरक्षित बाहर निकल गए। जान की कोई क्षति नहीं हुई। रोजाना की तरह वार्डों का राउंड लेने के बाद मैं रात दो बजे सोने गया था। एक झपकी ही ली थी कि स्टाफ ने फोन करके आग लगने की जानकारी दी।

नर्सिंग होम में मौजूद आग बुझाने के उपकरणों का इस्तेमाल शुरू करने के साथ ही मरीजों और तीमारदारों को तत्काल सुरक्षित बाहर निकालने पर फोकस किया गया। स्टाफ ने बेहद सूझ-बूझ और तत्परता दिखाते हुए किसी की जान पर आंच नहीं आने दी। इन हालात में यही सबसे ज्यादा खुशी है। डॉ.सीपी सिंह के संबंधी यशवीर सिंह समेत उनके परिवार के सभी लोग ईश्वर का आभार व्यक्त करते नजर आए।
जिज्ञासा नर्सिंग होम के कर्मचारी फहीम ने कहा कि रात को भी मरीजों का ज्यादा से ज्यादा ध्यान रखने पर हम सबका फोकस रहता है। यही वजह है कि रात को ढाई बजे जब नर्सिंग होम की बिल्डिंग के बाहर लगे बिजली के मीटरों में आग लगी तब पूरा स्टाफ जगा हुआ था। आग लगने की जानकारी पल भर में सभी कर्मचारियों को मिल गई और मरीजों और तीमारदारों को तत्काल सुरक्षित बाहर निकालने का डॉक्टर साहब का जानकारी दी गई। हमने फौरन इमरजेंसी वाला गेट खोला। मरीजों को बाहर निकालने में जुट गए। जो मरीज खुद से चलने की स्थिति में नहीं थे जरूरत के हिसाब से किसी को कंधे पर बैठाकर तो किसी को व्हीलचेयर पर बैठाकर इमरजेंसी गेट से बाहर निकाला गया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *